*Kya Khoob Likha Hai* समंदर
*Kya Khoob Likha Hai*
समंदर सारे शराब होते तो सोचो कितना बवाल होता,
हक़ीक़त सारे ख़्वाब होते तो सोचो कितना बवाल होता..!!
किसी के दिल में क्या छुपा है ये बस ख़ुदा ही जानता है,
दिल अगर बेनक़ाब होते तो सोचो कितना बवाल होता..!!
थी ख़ामोशी हमारी फितरत में तभी तो बरसो निभ गयी लोगो से,
अगर मुँह में हमारे जवाब होते तो सोचो कितना बवाल होता..!!
हम तो अच्छे थे पर लोगो की नज़र में सदा बुरे ही रहे,
कहीं हम सच में ख़राब होते तो सोचो कितना बवाल होता..